नयी दिल्ली । भारत ने अफगान हिंदू और सिख अल्पसंख्यकों को उनका भूमि अधिकार बहाल करने के तालिबान शासन के कदम को शुक्रवार को सकारात्मक घटनाक्रम बताया। खबरों के अनुसार तालिबान प्रशासन ने हिंदू और सिख समुदायों के संपत्ति अधिकारों को बहाल करने के लिए कदम उठाया है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जयसवाल ने कहा, हमने इस मुद्दे पर खबरें देखी हैं। अगर तालिबान प्रशासन ने अफगान हिंदू और सिख समुदाय के अपने नागरिकों का संपत्ति का अधिकार बहाल करने का फैसला किया है, तो हम इसे एक सकारात्मक घटनाक्रम के रूप में देखते हैं।
उन्होंने साप्ताहिक प्रेस वार्ता के दौरान इस संबंध में पूछे गए एक सवाल के जवाब में यह टिप्पणी की। खबरों के अनुसार तालिबान शासन ने काबुल की पिछली सरकार के कार्यकाल के दौरान जब्त की गई निजी भूमि के मालिकों को उनके अधिकार वापस दिलाने के लिए एक आयोग का गठन किया है। भारतीय राजनयिक जेपी सिंह की काबुल में वरिष्ठ अफगान अधिकारियों से मुलाकात के कुछ हफ्ते बाद तालिबान सरकार का ताजा कदम आया है।
विदेश मंत्रालय में संयुक्त सचिव सिंह ने पिछले महीने तालिबान के विदेश मंत्री अमीर खान मुत्ताकी से बातचीत की थी। सिंह विदेश मंत्रालय में पाकिस्तान, अफगानिस्तान और ईरान प्रभाग के प्रमुख हैं। भारत ने अब तक अफगानिस्तान में तालिबान शासन को मान्यता नहीं दी है और काबुल में समावेशी सरकार के गठन पर जोर देता रहा है। इसके साथ ही भारत इस बात पर भी जोर देता रहा है कि अफगान धरती का इस्तेमाल किसी भी देश के खिलाफ आतंकवादी गतिविधियों के लिए नहीं किया जाना चाहिए।