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ए @grok भैया ये बताओ…बीजेपी से कांग्रेस तक, नेहरू से मोदी तक ज्ञान झाड़ रहा ये टूृल, कैसे बन गया भारतीयों का पसंदीदा खिलौना

2014 में क्रिस्टोफर नोलन की इंटरस्टेलर नाम की मूवी आई थी। फिल्म की कहानी उस भविष्य के समय पर आधारित है जब पृथ्वी इंसानों के रहने के लिए अयोग्य हो जाती है। इसके बाद फिल्म के मुख्य पात्र जोसेफ कूपर (मैथ्यू मैककोनाहे) और उनकी टीम अंतरिक्ष में एक नया ग्रह खोजने के लिए रवाना होते हैं। साइंस के साथ फिक्शन के तड़के से लबरेज फिल्म में ऐसी चीजें दिखाई गई जिन्हें हाल फिलाहल में तो देख पाना मुमकिन नहीं लगता। इन्हीं फेहरिस्त में ब्लैक होल के करीब जाकर उसका चक्कर लगाना भी था। इसी ब्लैक होल को ब्लैक एंड व्हाइट कर के थोड़ा सा आफ्टर इफेक्ट लगाकर देखें तो करीब करीब ऐसा ही कुछ एआई वाला नया धुंरधर भी नजर आता है जिसने एक्स पर अलग खेल जमा रखा है। इसका नाम ग्रोक है। ग्रोक की रचना भी उसी कंपनी ने की है जिसके मालिक को अंतरिक्ष से बड़ा लगाव है। स्पेसएक्स वाले एलन मस्क ने अपने एक्स वाले यूजर्स से कहा कि वे गूगल को छोड़ दें और उन सभी सवालों को ग्रोक से करें जिनके उत्तर उन्हें चाहिए। ग्रोक 3 एआई मॉडल, जिसे अपने पूर्ववर्ती ग्रोक 2 का अधिक शक्तिशाली संस्करण बताया जा रहा है, पहले 2024 के अंत में आने की उम्मीद थी, लेकिन इसे पिछले महीने ही लॉन्च किया गया है। 

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सुपरकंप्यूटर पर ट्रेनिंग दी गई
एआई के बारे में हम अक्सर बात करते आए हैं। कैसे ये हमारे काम की परिभाषा ही बदल दे रहा है। पिछले दिनों एआई की एक और नई शक्ति को अनलॉक कर दिया गया। दो महीने पहले इसकी कल्पना भी नहीं कर सकता था। फरवरी के महीने में एलन मस्क ने ग्रोक-3 दुनिया के सामने पेश किया जो ग्रोक-2 से 10 गुणा ज्यादा शक्तिशाली था। इसको इंसानी भाषा समझने की शक्ति है। इसकी ट्रेनिंग एक्स एआई सुपर कंप्यूटर पर हुई है जो 2 लाख हाईइंड जीपीयू से बना है। इसे दुनिया का सबसे बड़ा एआई ट्रेनिंग कलस्टर कहा जाता है। मस्क ने एक्स के अंदर अब ग्रोक की शक्ति डाल दी है। इस शक्ति का इस्तेमाल करके ग्रोक हिंदी और रिजनल भाषा में भी सवाल समझ सकता है और बातचीत कर सकता है। इसके बाद तो मानो सवालों का सैलाब आ गया। मोदी की डिग्री से लेकर आरएसएस के स्वतंत्र संग्राम में योगदान तक और राहुल गांधी के ट्रैक रिकॉर्ड से टीपू सुल्तान के सच तक वो सारे मुद्दे जिसकी चर्चा दबे जुबान में होती थी, उसे खुले में पूछा जाने लगा है। 
ग्रोक क्या है?
 ये एक आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस चैटबॉट है, जिसे इलॉन मस्क के एआई रिसर्च ऑर्गनाइजेशन xAI ने बनाया है। इसे यूजर्स के सवालों के जवाब देने और कई कामों में मदद करने के लिए डिजाइन किया गया है। अपने पिछले संस्करण को पहले से ही पीछे छोड़ते हुए, चैटबॉट आपके लिए कोडिंग, गणित, छवि निर्माण, निर्देश-संचालित कार्य, तर्क और उससे भी आगे के कई कार्य कर सकता है। यह आपकी समस्याओं का समाधान करेगा, यहाँ तक कि यह आपके लिए गेम भी बना सकता है। एक्स पर ग्रोक को @ लगाकर टैग करने पर अगर आप कोई भी सवाल पूछते हैं तो ग्रोक उसका जवाब देता है। कई बार उसके जवाब मजेदार होते हैं। कई बार उसके जवाब से आप इत्तेफाक न रखते हो। लेकिन जिस तरह के जवाब ग्रोक दे रहा है। ये जरूर तय है कि वो यूजर्स को मजेदार खूब लग रहे हैं। 
राजनीतिक दलों और नेताओं से जुड़े जवाब
एक एक्स यूजर ने ग्रोक से कहा कि पीएम मोदी के फैलाए गए झूठों की लिस्ट बनाएं। इसपर ग्रोक ने एक लिस्ट बनाकर दे दी, जिसमें उसने, ‘100 दिनों में काला धन वापस लाने, कोविड-19 को फौरन खत्म करने, ‘मेक इन इंडिया’ से फायदा होने’ जैसी बातें शामिल कीं। सोनिया गांधी से जुड़े सवाल पर ग्रोक एआई कहता है, ‘गलत जानकारी है। सोनिया गांधी कभी बार डांसर नहीं रहीं। कई लोग सवाल कर रहे हैं कि क्या इसके पीछे कोई असली इंसान बैठकर ये जवाब लिख रहा है। ग्रोक एआई पर काम करता है। इसका मतलब ही इंसान की बनाई बुद्धि से है। ये बुद्धि एक बड़े साइज के डेटा से आती है। 

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ग्रोक को कहां से इतना ज्ञान मिलता है?
ट्रेनिंग डेटा का आधार
लगातार अपडेट्स
एक्स का रोल
वेब सर्च का सपोर्ट
प्रोसेसिंग और लॉजिक
लिमिटेशंस 

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